भावनाओं पर लगाम

by वीणा शिवपुरी / Ref वीणा शिवपुरी
" संदर्श करने , नई दुनिया बनाने के लिए जोश , उत्साह , आशा और गुस्से की ज़रुरत हैं । हम सभी इंसान हैं, कभी निराश भी होती हैं तो कभी उदास भी । ... परन्तु चौकस रहने की ज़रुरत हैं कि हम अपनी ज़िंदगी और ये दुनिया बेहतर बनाने के लिए भावनाओ का इस्तेमाल करें, न कि खुद उनके हाथों की कठपुतली बन जाए । " आगे पढ़िए...
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